मानव-निर्मित-वस्तुएँ

           अभ्यास प्रश्न

1. सही विकल्प के सामने सही () का चिन्ह अपनी उत्तर पुस्तिका में लगाइए –

(क) थर्माकोल का दूसरा नाम है –

  • टेफ्लॉन
  • स्टाइरोन        
  • नायलॉन
  • डेक्रान

(ख) पौधों का मुख्य पोषक तत्व है – 

  • गन्धक
  • ऑक्सीजन
  • नाइट्रोजन     
  • कार्बन

(ग) फेरिक ऑक्साइड मिलाने से निर्मित काँच होता है –

  • हरा
  • हल्का नीला   
  • पीला
  • बैंगनी

(घ) खिड़कियों में प्रयोग किया जाता है ?

  • कठोर काँच
  • फोटोक्रोमेटिक काँच
  • फ्लिन्ट काँच
  • साधारण या मृदु काँच   

2.सही कथन के सम्मुख () तथा गलत कथन के सम्मुख (X) चिन्ह अपनी उत्तर पुस्तिका में अंकित कीजिए-
(क) फोटोक्रोमिक काँच प्राप्त करने के लिये उसमें कुछ सिल्वर  आयोडाइड मिलाया जाता  है।  (‌✓)

(ख) रेयान प्राकृतिक रेशा है।  (×)

(ग) सीमेन्ट, साबुन, उर्वरक, प्लास्टिक आदि मानव-निर्मित वस्तुएँ हैं। (✓)

(घ) ऐन्टीबायोटिक दवाओं का उपयोग कीटाणुनाशक के रूप में किया जाता है। (×)

3. नीचे दिये गये शब्दों की सहायता से रिक्त स्थानों की पूर्ति अपनी अभ्यास पुस्तिका में कीजिए-

(साबुन, प्राकृतिक, बर्तन, संश्लेषित, पराबैंगनी)

उत्तर

(क) मेलामाइन का उपयोग प्लास्टिक के बर्तन बनाने में किया जाता है।

(ख) सूत, रेशम, ऊन प्राकृतिक रेशे है।

(ग) धूप के चश्में सूर्य की पराबैंगनी किरणों से आँखों को बचाते हैं।

(घ) सोडियम हाइड्रॉक्साइड और वनस्पति तेल की क्रिया से साबुन प्राप्त किया जाता है।

(ड़) संश्लेषित रेशों से बने कपड़े अधिक टिकाऊ और सस्ते होते हैं।

4. संक्षेप में उत्तर दीजिए –

(क) प्राकृतिक एवं मानव-निर्मित वस्तुओं से क्या समझते हैं?

उत्तर प्राकृतिक वस्तुएं- जिन वस्तुओं को प्रकृति हमें प्रदान करती है उसे प्राकृतिक वस्तुएं कहते हैं। जैसे- जल, हवा, मिट्टी, पेड़-पौधे, जीव-जन्तु, सूर्य, नदी, पहाड़ आदि। इनको हम स्वयं नहीं बना सकते हैं।

मानव-निर्मित वस्तुएं- जिन वस्तुओं को मनुष्य अथवा मशीनों द्वारा बनाया जाता है उसे मानव निर्मित वस्तुएं कहते हैं। जैसे-मकान, किताब पंखा, बर्तन, गाड़ी, साइकिल, खिलौना, साबुन, कपड़ा, काँच आदि।

(ख) किन्हीं चार प्रकार के काँच का नाम लिखिए।

उत्तर- चार प्रकार के काँचो के नाम-

  1. फ्लिन्ट या प्रकाशीय काँच
  2. कठोर काँच
  3. फोटोक्रोमिक काँच
  4. साधारण या मृदु काँच

(ग) पॉलीथीन, टेफ्लॉन, बैकेलाइट तथा एक्रिलिक के एक-एक उपयोग लिखिए।

उत्तर

प्लास्टिक उपयोग
पॉलीथीन  थैली, बाल्टी आदि बनाने में।
टेफ्लॉन यह भोजन पकाने के पात्रों पर न चिपकने वाली परत लगाने के काम आता है।
एक्रिलिक कार, ट्रक आदि की खिड़कियों में।
बैकेलाइट बिजली के प्लग, स्विच, कंघी  हत्थे आदि बनाने में।

 

(घ) साबुन और अपमार्जक में क्या अन्तर हैं ?

उत्तर

साबुन और अपमार्जक में अन्तर-

साबुन अपमार्जक
यह वनस्पति तेल और सोडियम अथवा पोटैशियम हाइड्रॉक्साइड की पारस्परिक क्रिया द्वारा बनाया जाता है ये पेट्रोलियम, हाइड्रोकार्बन्स से बनते हैं।
साबुन कठोर जल के साथ कम झाग देते हैं। अपमार्जक साबुन की अपेक्षा कठोर जल में अधिक झाग देते हैं।

 

(ड़) मृतिका क्या है ?

उत्तर उच्च ताप पर पके हुए बरतन अर्थात पकी हुई मिट्टी को ही मृतिका कहते हैं।

(च) संश्लेषित रेशे क्या हैं ?

उत्तर  संश्लेषित रेशे-  इन्हें मानव निर्मित रेशे भी कहा जाता है। यह रासायनिक पदार्थों से बने होते हैं। रेयॉन , नायलॉन, पॉलिएस्टर आदि संश्लेषित रेशे है।

  1. खंड `क’ के अधूरे वाक्यों को खंड `ख’ की सहायता से पूरा कीजिए –
स्तम्भ (क)‌‌ स्तम्भ (ख)

 

क. मनुष्य अथवा मशीनों द्वारा तैयार की गयी वस्तुएँ मानव-निर्मित वस्तुएँ कहलाती हैं।

 

ख. मकान बनाने में ईंट, सीमेन्ट, सरिया आदि का उपयोग किया जाता है
ग. सीमेन्ट के नये प्लास्टर पर पानी का छिड़काव आवश्यक होता है।

 

घ. रेयान रेशों को कृत्रिम रेशा भी कहा जाता है।

 

 

5. निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर दीजिए –

(क) भूमि में पोषक तत्वों की पूर्ति के लिए कौन-कौन से  उपाय किये जा सकते हैं ?

उत्तर- भूमि में पोषक तत्वों की पूर्ति के उपाय-

  • मिट्टी परीक्षण के आधार पर ही उर्वरको एवं जैविक खादों का प्रयोग करना चाहिए।
  • भूमि में रासायनिक उर्वरकों के साथ-साथ कार्बनिक खाद जैसे गोबर की खाद, हरी खाद तथा विभिन्न फसलों के अवशेषों का भी प्रयोग करना चाहिए।
  • फसल चक्र के नियमों को अपनाना चाहिए।

(ख) धूप में बाहर निकलने पर हम धूप के चश्मों का प्रयोग क्यों करते हैं?

उत्तरधूप के चश्में आँखों को सूर्य की गर्मी और पराबैंगनी किरणों से बचाने के लिए लगाये जाते हैं।

(ग) संश्लेषित रेशों से बने वस्त्र जल्दी क्यों सूख जाते हैं ?

उत्तर-  संश्लेषित रेशों से बने वस्त्र कम पानी सोखते इसलिए जल्दी सूख जाते हैं।

(घ) जैव निम्नीकरणीय और जैव अनिम्नीकरणीय में अन्तर लिखिए।

उत्तर जैव निम्नीकरणीय पदार्थ-  जो पदार्थ प्राकृतिक प्रक्रिया ( जैसे जीवाणु) द्वारा अपघटित हो जाते हैं, जैव निम्नीकरणीय पदार्थ कहलाते हैं, जैसे- सब्जी व फलों के छिलके, भोजन, कागज, लकड़ी, सूती कपड़ा, ऊनी वस्त्र आदि।

जैव अनिम्नीकरणीय पदार्थ- जो पदार्थ प्राकृतिक प्रक्रियाओं द्वारा सरलता से अपघटित नहीं होते हैं, जैव अनिम्नीकरणीय पदार्थ कहलाते हैं, जैसे- टिन, एलुमिनियम, धातुओं की पत्तियां, प्लास्टिक की थैलियां आदि।

 

 

 

 

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